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80 के दशक में इन्हें पंजाबी फिल्म इंडस्ट्री का वो सितारा कहा जाने लगा, जिसने पंजाबी फिल्म इंडस्ट्री को उस समय एक अलग ही मुकाम पर पहुंचा दिया था. इतना ही नहीं ‘वीरेन्द्र सिंह’ एक बेहतरीन अभिनेता होने के साथ-साथ एक सफल निर्देशक और निर्माता भी थे. उस दौर का हर निर्माता-निर्देशक उन्हें अपनी फिल्म में लेना चाहता था.
वीरेन्द्र सिंह’ ने अपने 12 साल के फ़िल्मी करियर में 25 से ज्यादा फिल्मो में बतौर अभिनेता काम किया. वीरेन्द्र ने पंजाबी फिल्मों के अलावा 2 हिंदी फिल्मों ‘खेल मुकद्दर का’ और ‘दो चेहरे’ में भी काम किया था. इन दोनों ही फिल्मों ने बड़े पर्दे पर आते ही अच्छा खासा बिज़नेस भी किया.
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